माइम (Mime), मूक कला का एक रूप है जिसमें केवल गतिविधियों, इशारों और चेहरे के भावों का उपयोग करके अभिनय या संचार किया जाता है।माइम प्रदर्शन करने वाले व्यक्ति को माइम भी कहा जाता है।इसके महत्व और लोकप्रियता को देखते हुए थिएटर फेस्टिवल और यहां तक कि कॉरपोरेट ट्रेनिंग प्रोग्राम भी माइम कला को आगे बढ़ा रहे हैं। माइम कला के समर्थक मानते हैं कि माइम और पैंटोमाइम (Pantomime) (मुखौटा, छाया, नृत्य आदि का उपयोग)किसी नाट्य कला से कई अधिक बढ़कर है। अक्सर लोग माइम कलाकार और जोकर को एक जैसा समझते हैं, लेकिन इन दोनों में बहुत अधिक अंतर है।माइम कला गैर-मौखिक संकेतों को बेहतर बनाता है, सूक्ष्म भावों को जागृत करता है, शरीर की गतिविधियों के बारे में जागरूकता बढ़ाता है और कलाकार की स्मृति, रचनात्मकता और सटीकता में सुधार करता है। यह कला रूप युवाओं के बीच अत्यधिक लोकप्रिय हो गया है। इस कला को प्रदर्शित करने वाले समूह के आकार और उसमें शामिल लोगों की आयु से सम्बंधित कोई समय सीमा नहीं है। जब इस कला का प्रदर्शन किया जाता है,तो सेट, लाइटिंग, संगीत और मेकअप के साथ-साथ चेहरे के भाव और शरीर की गतिविधियों के लिए भी अंक दिए जाते हैं।तो आइए आज इन तीन वीडियो के जरिए माइम कला के कुछ दृश्यों का आनंद लें।