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लोग अपने घर को सजाने का हर संभव प्रयास करते हैं, जिसमें फर्नीचर(furniture) अहम भूमिका निभाते हैं। आज प्राकृतिक और कृत्रिम सामाग्री से निर्मित विभिन्न प्रकार के फर्नीचर बाजार में उपलब्ध हैं। मेरठ के आस-पास बहुतायत में पाए जाने वाले गन्ने का उपयोग, फर्नीचर बनाने के लिए भी किया जाता है और इसे विकर फर्नीचर(Wicker Furniture) के रूप में जाना जाता है। इसमें बेंच(bench), टेबल(table), सोफा(sofa) आदि शामिल हैं।
इसे बनाना बहुत आसान है, यहाँ तक कि इसे घर पर भी बनाया जा सकता है। प्राकृतिक एवं मानव निर्मित सामाग्रियों (जैसे:- गन्ना, बेंत, विलो(willow), रेजिन(resin), रस, घास, विनाइल(vinyl) आदि) से तैयार किए जा सकते हैं। विकर फ़र्नीचर में विभिन्न प्रकार के रंगों का प्रयोग किया जा सकता है। घर में आप विकर फ़र्नीचर घर की सज्जा के अनुकूल कुशन इत्यादि का प्रयोग भी कर सकते हैं। यह कम वजन के साथ अधिक टिकाऊ होते हैं।
यह एक बुनाई प्रक्रिया है। विकर फर्नीचर की कीमत भले बाजार में ज्यादा है किंतु इसे घर में भी आसानी से तैयार किया जा सकता है। इस प्राचीन तकनीक से निर्मित फर्नीचर आज भी काफी लोकप्रिय है। इसमें निर्माण सामाग्री (प्राकृतिक सामाग्री) को बुनाई से पूर्व गीला किया जाता है जिससे बुनाई करने में आसानी हो। विकर फर्नीचर बनाने के लिए निम्न चरणों का अनुसरण किया जाता हैं:
चरण 1
विकर फर्नीचर बनाने हेतु उपयोग की जाने वाली सामाग्रियों में रीड(reed), विलो(willow) तथा बांस सबसे सस्ती सामग्री तथा बेंत सबसे लोकप्रिय सामग्री हैं। विलो और ईख आसानी से उपलब्ध होने वाली सामाग्री हैं किंतु यदि आप इसे बनाने की योजना बना रहे हैं तो बेंत और बांस को प्राथमिकता देना ज्यादा सही रहेगा, इनमें कार्य करना ज्यादा आसान होता है। बेंत सबसे तीव्रता से बढ़ने वाली प्राकृतिक सामाग्रियों में से है साथ ही इसे आसानी से परिष्कृत किया जा सकता है। बेंत मौसम प्रतिरोधी होता है इसलिए इसे बाह्य फर्नीचरों में उपयोग किया जाता है।
चरण 2
विकर फर्नीचर का ढांचा तैयार करने के लिए कम से कम 2 इंच व्यास वाले बांस या बेंत की लकडि़यों के टुकड़ों को एकत्रित करें। जिनका उपयोग फर्नीचर की आकृति के अनुसार किया जा सके।
चरण 3
फ्रेम के टुकड़ों को वांछित आकार में काटें और प्रत्येक टुकड़े के ऊपर खांचें बनाए जिससे वे एक दूसरे भाग में आसानी से फिट हो जाएं। फ्रेम तैयार करने के लिए टुकड़ों को कील के माध्यम से जोड़ें।
चरण 4
फ़र्नीचर पर क्रिस्क्रॉस(criss-cross) पैटर्न बनाने के लिए क्षैतिज और लम्बवत रूप में फ़्रेम पर चुनी गई सामग्री को बुनें। बीच से बुनाई प्रारंभ कर उसे नीचे की ओर ले जाएं। यह पैटर्न(pattern) लकडि़यों को जोड़ने के साथ-साथ उसे मजबूती भी प्रदान करता है।
चरण 5
तैयार विकर फर्नीचर पर मोम का एक पतला कोट लगाएं। यह फर्नीचर को विभिन्न अवयवों द्वारा नष्ट होने से बचाता है साथ ही इसे एक चमक भी देता है। गन्ने से बने फर्नीचर को नम तौलिए से साफ किया जाना चाहिए ताकि यह अधिक नमी को अवशोषित न करें और इन्हें भंगुर लगने से बचाया जा सके। कोई भी यह प्रोजेक्ट (project) के प्रकार और जटिलता के आधार पर, 1 से 4 दिनों के बीच पूरा हो सकता है।
प्राकृतिक सामग्री से बने पारंपरिक विकर फर्नीचर घर के भीतर (लिविंग रूम(Living Room), बेड रूम(Bed Room) और ड्राइंग रूम(Drawing Room) आदि) में उपयोग हेतु ज्यादा अनुकुल होते हैं। हालाँकि इनका उपयोग बाहर के लिए भी किया जा सकता है, किंतु बार बार नमी और अत्यधिक गर्मी के संपर्क में आने से इन्हें क्षति पहुंचती है।
कृत्रिम विकर फर्नीचर हाल के वर्षों में पुन: उभरा है। कम दाम में अधिक मज़बूत केन सामग्री की माँग ने राल और विनाइल जैसी मानव-निर्मित सामग्रियों का उपयोग बड़ा दिया है। राल और विनाइल मूल रूप से प्लास्टिक से बने होते हैं जिन्हें बहुत पतली स्ट्रिप्स में काट दिया जाता है और फिर इससे फर्नीचर फ्रेम तैयार किया जाता है। साथ ही इन पर मौसम का कोई विशेष प्रभाव नहीं पड़ता है।
संदर्भ :
1. Alth Max and Charlotte How to make your own Cane Furniture Stobart & Son Ltd, London
2. https://www.hunker.com/13404189/how-to-make-wicker-furniture
3. http://www.designfurnishings.com/blog/wicker-furniture-making-process/