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अक्षय कुमार की एक प्रसिद्ध फिल्म “चांदनी चौक टू चाइना (Chandni Chowk To China)” का एक डायलॉग (Dialogue) शायद आपने भी सुना होगा: “मुझे तुम्हारे उन दस हज़ार कदमों
(Moves) की चिंता नहीं है, जिनका तुमने एक बार अभ्यास किया है, मुझे तुम्हारे उस एक कदम का
डर है, जिसका तुमने दस हज़ार बार अभ्यास किया है।” आपके मन में भी कभी ना कभी यह प्रश्न ज़रूर उठा होगा कि “हमें किसी एक काम में बहुत
अच्छा होना चाहिए या फिर कई कामों में थोड़ा-थोड़ा अच्छा होना भी ठीक है?” चलिए आज इसी
गहरे प्रश्न की पड़ताल करते हैं।
आज के समय में अधिकांश लोगों के सामने सबसे बड़ी दुविधा ये है, कि एक सामान्यवादी (जो
बहुत विषयों के बारे में थोड़ा-थोड़ा जानता हो।) होना बेहतर है या फिर एक विशेषज्ञ (किसी एक
विषय में पारंगत) होना एक बेहतर विकल्प होता है। कला और विज्ञान जैसे बहु-विषयक क्षेत्रों के
विकास के साथ ही यह विषय काफी लोकप्रिय हो रहा है। देखा जाए तो हमारी आधुनिक शिक्षा प्रणाली को किसी एक विषय या विशेषग्यता (Narrow
Specializations) तक ही सीमित रखना अब आज के समय मेंव्यवहारिक नही है। आधुनिक
समय में हमारे पास कई ऐसे साधन उपलब्ध हैं, जिनके ज़रिए आम लोग भी बहुत आसानी से
विशेषज्ञों के स्तर के ज्ञान को हासिल कर सकते हैं। हालांकि हमारा लक्ष्य विशेषज्ञता
को खत्म करना नहीं होना चाहिए , बल्कि हम सभी का लक्ष्य अंतर-विषयक सोच
(Interdisciplinary Thinking) को बढ़ावा देते हुए, विभिन्न क्षेत्रों से ज्ञान को हासिल करना होना
चाहिए।
हमारे वर्तमान शैक्षिक विकल्प, मुख्य रूप से पुराने मानदंडों से प्रभावित हैं। पुराने सभी मानदंड
विशेषज्ञता को बढ़ावा देते हैं, लेकिन भविष्य में सिर्फ एक कौशल में निपुण होना ही काफ़ी नहीं
होगा। डेविड एप्स्टीन (David Epstein) जैसे लेखक सुझाव देते हैं कि “हमें विभिन्न प्रकार के विषयों
के बारे में सीखते रहना चाहिए।” इससे हमें "गहरे सामान्यवादी (Deep Generalist)" बनने में मदद
मिलेगी। गहरे सामान्यवादी ऐसे लोग होते हैं, जो कई विषयों के बारे में बहुत कुछ जानते हैं। मानव इतिहास
में जोहान्स केप्लर (Johannes Kepler), आइज़क न्यूटन (Isaac Newton), लियोनार्डो दा विंची
(Leonardo Da Vinci), रिचर्ड फेनमैन और स्टीव जॉब्स (Richard Feynman and Steve Jobs),
जैसे कई महान वैज्ञानिक और नवप्रवर्तक भी गहरे सामान्यवादी थे। उन्होंने विभिन्न क्षेत्रों के ज्ञान को
संयोजित किया, जो की एक गहन सामान्यवादी की प्रमुख विशेषता होती है।
हालाँकि तेज़ी से बदलते आधुनिक समय में भी हमारी शिक्षा के विकल्प पुराने विचारों पर अटके
पड़े हैं, जो विशेषज्ञता को बढ़ावा देते हैं। लेकिन हमें इस प्रथा को बदलने और आने वाले भविष्य के
लिए नए दरवाज़े खोलने की जरूरत है। यदि हम युवाओं को विभिन्न क्षेत्रों, रुचियों और उनके जुनून (passion)
से जुड़े विषयों के बारे में सीखने की अनुमति देते हैं, तो उनके पास सीखने और भविष्य के लिए
अधिक विकल्प होंगे। आज कई स्कूल एक ही समय में भौतिकी और दर्शनशास्त्र दोनों पढ़ाते हैं।
सबसे ज़रूरी बात, हमारा प्रमुख लक्ष्य समस्याओं को हल करने के लिए सीखने पर ध्यान केंद्रित
करना होना चाहिए, न कि केवल अच्छे अंक हासिल करने पर। एक नई भाषा या कौशल सीखना,
या किसी सामुदायिक परियोजना में शामिल होना, नए तरीकों से सीखने को और अधिक रोमांचक
बना सकता है।एक से अधिक विषयों का ज्ञान होने के कारण युवाओं के समक्ष औपचारिक और अनौपचारिक
दोनों क्षेत्रों में काम करने के अवसर खुल सकते हैं। यहाँ पर औपचारिक रोज़गार एक प्रकार के
रोज़गार को संदर्भित करता है जहां काम के नियम और शर्तें, श्रम कानूनों और रोज़गार अनुबंधों
द्वारा विनियमित और संरक्षित होती हैं। औपचारिक रोज़गार की कुछ विशेषताएं होती हैं, जो इसे
अनौपचारिक या आकस्मिक रोज़गार से अलग करती हैं। अनौपचारिक रोज़गार से तात्पर्य
उस
कार्य से होता है, जिसे श्रम कानूनों द्वारा विनियमित या संरक्षित नहीं होता है। अनौपचारिक रोज़गार
से काम करने की परिस्थितियाँ अनिश्चित हो सकती हैं और आर्थिक विकास में बाधा आ सकती है।
यदि हम भारत के श्रम बाजार पर नज़र डालें, तो यहाँ पर काफी हद तक अनौपचारिकता व्याप्त
है।
भारत में 'निचले स्तर' की अनौपचारिक नौकरियों में लगे श्रमिकों की संख्या बहुत अधिक है, जिन्हें
बहुत कम मुआवज़ा दिया जाता है। हालाँकि इसमें 'उच्च स्तर' की अनौपचारिक नौकरियां भी
शामिल हैं, जो कुछ हद तक बेहतर वेतन प्रदान करती हैं। लेकिन इनमें दोनों में से कोई भी श्रेणी
औपचारिक रोज़गार के समान लाभ या नौकरी सुरक्षा प्रदान नहीं करती है। निचले स्तर के
अनौपचारिक श्रमिकों, चाहे वे स्वरोज़गार हों या वेतन-रोज़गार, के पास आगे बढ़ने के अवसर
काफ़ी सीमित हैं। बहु विषयक (multidisciplinary) शिक्षा किसी व्यक्ति के नौकरी के अवसरों को आकार देने में
महत्वपूर्ण भूमिका निभाती है, और अधिक आकर्षक तथा स्थिर रोज़गार की ओर ले जाती है।
संदर्भ
http://tinyurl.com/bdyjr2pk
http://tinyurl.com/2649wz79
http://tinyurl.com/3v7xxhyv
चित्र संदर्भ
1. सामान्यज्ञ बनाम विशेषज्ञ को संदर्भित करता एक चित्रण (needpix)
2. एक विशेषज्ञ को संदर्भित करता एक चित्रण (flickr)
3. एक चिंतित व्यक्ति को संदर्भित करता एक चित्रण (Pexels)
4. विविध कलाओं वाले व्यक्ति को संदर्भित करता एक चित्रण (Needpix)
5. ऑफिस में काम करते कर्मचारियों को संदर्भित करता एक चित्रण (Wallpaper Flare)
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