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                                            हिंदु धर्म के देवी-देवताओं कि सार्वभौमिकता और लोकप्रियता पूरे विश्व में फैली हुई है। धरती पर ईश्वर के
अनेक स्वरूपों का मानवता द्वारा एक आदर्श के रूप में अनुसरण किया जाता है, अतः जब भी बात श्रद्धा,
निष्ठां, भक्ति और आस्था की आती है, तो भगवान राम के सेवक के रूप में माने जाने वाले श्री-हनुमान
(भगवान शंकर का एक रूप) का उदाहरण ज़रूर दिया जाता है।
श्री-हनुमान हिन्दू धर्म के सबसे लोकप्रिय और विस्तृत महाकाव्य रामायण के सबसे महत्त्वपूर्ण व्यक्तियों
में से एक हैं। उन्हें हनुमान्, आंजनेय और मारुति सहित अनेक अन्य नामों से भी जाना जाता है। भगवान
शिव के आठवें अवतार मारुति बेहद बलशाली और बुद्धिमान माने जाते हैं। श्री-हनुमान को अक्सर
समकालीन युग के सबसे पहले सुपरहीरो के रूप में माना जाता है! रामायण के अनुसार वे भगवान विष्णु के,
एक अवतार श्री राम तथा माता जानकी के सबसे प्रिय माने जाते हैं। माना जाता है कि इस धरती पर सात
मनुष्यों को अमृतत्व का वरदान प्राप्त है, जिनमे से एक बजरंगबली भी हैं। उनके धरती पर जन्म लेने का
उद्द्येश्य प्रभु श्री राम की सहायता करना माना जाता है। इनका शरीर वज्र के सामान माना जाता है, जिस
कारण इन्हे बजरंगबली के रूप में जाना जाता है। वे पवन-पुत्र के रूप में भी जाने जाते हैं, क्यों की वायु
अथवा पवन ने श्री हनुमान को पालने में महत्त्वपूर्ण भूमिका निभाई थी।
हिँदू महाकाव्य रामायण के अनुसार श्री हनुमान जी को वानर मुख तथा मनुष्य रुपी शरीर के साथ अत्यंत
बलिष्ठ पुरुष के रूप में दिखाया जाता है, जिनके कंधे पर जनेऊ लटका रहता है। अपने सभी चित्रों और
प्रतिमाओं में उनको मात्र एक लंगोट पहने अनावृत शरीर के साथ दिखाया जाता है। साथ ही कई बार उनके
मस्तक पर स्वर्ण मुकुट एवं शरीर पर स्वर्ण आभुषण पहना कर भी दिखाया जाता है। भारी गदा को अस्त्र के
रूप में दर्शाया जाता है, और वानर के समान ही उनकी एक लंबी पूँछ भी दिखाई जाती है। उन्हें अक्सर
आसमान में उड़ते हुए, एक हाथ में जड़ी-बूटियों के पहाड़ और दूसरे में गदा पकड़े हुए चित्रित किया जाता है।
हनुमान जी को आज के भारत में कई हिस्सों में भगवान के रूप में पूजा जाता है। उन्हें बल और बुद्धि का
प्रतीक भी माना जाता है, जिस कारण देशभर के पुलिस स्टेशनों और कुश्ती क्लबों में, विशेष रूप से उत्तर में,
उनके छोटे-छोटे मंदिर अथवा चित्र आसानी से दिख जायेंगे। भारत के अलावा श्री हनुमान इंडोनेशिया,
थाईलैंड और मलेशिया जैसे हिंदू संस्कृति से प्रभावित देशों में भी पूजे जाते हैं। प्राचीन महाकाव्य रामायण
न केवल भारत में बल्कि दुनिया के अन्य दक्षिण एशियाई देशों में भी मनाया जाता है। इस महाकाव्य में
श्लोकों के लगभग 300 संस्करण मौजूद हैं, जिनके निर्माण का श्रेय महर्षि वाल्मीकि को दिया जाता है।
भारत के अलावा, रामायण के स्थानीय संस्करण बर्मा, इंडोनेशिया, कंबोडिया, लाओस, फिलीपींस, श्रीलंका,
नेपाल, थाईलैंड, मलेशिया, जापान, मंगोलिया, वियतनाम और चीन में पाए जा सकते हैं।
बौद्ध धर्म में रामायण: बौद्ध धर्म में रामायण के संस्करण को दशरता जातक के नाम से जाना जाता है। जहाँ संस्कृत रामायण
और रामायण के बौद्ध संस्करण के बीच एक बड़ा अंतर यह है कि, राम, सीता और लक्ष्मण को राजा दशरथ
ने अपनी महत्त्वाकांक्षी तीसरी पत्नी के विलाप करने पर जंगल में रहने के लिए भेजा था। रामायण के इस
संस्करण में सीता के अपहरण का कोई उल्लेख नहीं है।
जैन धर्म में रामायण:
रामायण महाकाव्य का जैन धर्म संस्करण भी बहुत प्रसिद्ध है, जिसके पात्र सभी जैन हैं। साथ ही सभी पात्र
केवल नश्वर हैं, और उनके पास कोई अलौकिक शक्ति भी नहीं है। जंगल में रहने के दौरान सभी पात्र जैन
तीर्थ स्थलों की यात्रा करते हैं। संस्करण में श्री राम को अहिंसक बताया गया है। लक्षमण को दानवों के
संहारक के रूप में बताया गया है। रावण और लक्ष्मण, दोनों नरक में जाते हैं, जबकि राम जैन भिक्षु बन
जाते हैं, और मोक्ष प्राप्त करते हैं।
थाईलैंड का रामायण संस्करण:
रामायण के थाई संस्करण को रामकियन के नाम से जाना जाता है। राजा राम प्रथम के लिखने से पूर्व
रमाकेन थाई संस्कृति में मौखिक रूप से मौजूद था। विभिन्न संस्कृतियों में प्रवेश के साथ ही रामायण
महाकाव्य के विभिन्न रूपांतरों में कई अंतर हैं। इन पात्रों के कपड़े, हथियार, स्थलाकृति और प्रकृति के तत्व
संस्कृति और स्थानों के अंतर के आधार पर बदल जाते हैं।
रामायण के सबसे महत्त्वपूर्ण किरदारों में से एक श्री हनुमान के मंदिर, भारत समेत विश्व के अनेक देशों में
निर्मित किये गए हैं। भारत के लखनऊ का प्राचीन हनुमान मंदिर, एक प्रतिष्ठित उदाहरण है, जिसमें मई
के प्रत्येक मंगलवार (आमतौर पर) मेलों और भंडारों का आयोजन भी किया जाता है। साथ ही भारत में
कोने-कोने में महाबली हनुमान के मंदिर देखने को मिल जाएंगे। विदेशों में भी मारुतिनंदन के भव्य मंदिरों
की विशिष्ट श्रंखला है। संयुक्त राज्य अमेरिका के माउंट मैडोना सेंटर (Mount Madonna Center) में
संकट मोचन हनुमान का मंदिर स्थापित है। साथ ही मलेशिया में गुफा मंदिरों की एक पूरी शृंखला है, जहाँ
रामायण गुफा के रास्ते में, हनुमान की 50 फीट ऊंची मूर्ति और भगवान हनुमान को समर्पित एक मंदिर है।
इसके अलावा भी नेपाल सहित अन्य पड़ोसी देशों में भी पवनसुत हनुमान के भव्य मंदिर और मूर्तियाँ
स्थापित की गई हैं।
संदर्भ
https://bit.ly/2U9QEYQ
https://en.wikipedia.org/wiki/Hanuman
https://www.ancient.eu/Hanuman/
https://bit.ly/38MpHvg
चित्र संदर्भ 
1. हनुमान की पूंछ उठाने की कोशिश करते हुए भीम  का एक चित्रण (wikimedia)
2.भारत में, वार्षिक शरद ऋतु के रामलीला नाटक में ग्रामीण कलाकारों द्वारा नवरात्रि के दौरान बनाए गए हनुमान का एक चित्रण (wikimedia )
3. जैन सार्वभौमिक इतिहास के अनुसार राम और लक्ष्मण बलदेव और वासुदेव के आठवें समूह हैं जिसका का एक चित्रण (wikimedia)
4. राम को पूजा में आवश्यक कमल के फूलों की पूरी संख्या - 108 - बनाने के लिए अपनी आंखें अर्पित करने के बारे में दिखाया गया है, जिसे उन्हें देवी दुर्गा को आशीर्वाद प्राप्त करने के लिए अर्पित करना की आवश्यकता है, कृतिवासी रामायण का दृश्य (wikimedia)